
देहरादून। प्रदेश में उच्च शिक्षा के मंदिरों में गुरुजनों के विरुद्ध छात्राओं के साथ छेड़छाड़ की घटनाएं बढ़ रही हैं। शासन ने इन्हें गंभीरता से लिया है। राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, उत्तरकाशी में ऐसी शिकायतों पर दो शिक्षकों को हटाकर कुमाऊं मंडल के महाविद्यालयों में संबद्ध किया गया है।
इन शिक्षकों पर कड़ी कार्रवाई तय मानी जा रही है।
राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय,उत्तरकाशी में छात्राओं ने दो शिक्षकों चित्रकला के असिस्टेंट प्रोफेसर डा मनीष सेमवाल और इतिहास विषय के असिस्टेंट प्रोफेसर डा रमेश सिंह के विरुद्ध कालेज प्रशासन से शिकायत की थी। कालेज प्रशासन ने आंतरिक परिवाद समिति से इन शिकायतों की जांच कराई।
समिति की जांच रिपोर्ट के आधार पर कालेज प्राचार्य प्रो पंकज पंत ने उच्च शिक्षा निदेशक एवं उच्च शिक्षा सचिव को इस संबंध में सूचित किया। डा रमेश सिंह के विरुद्ध कालेज में संविधान निर्माता बाबा साहब डा भीमराव आंबेडकर जयंती पर होने वाले कार्यक्रम में व्यवधान डालने की शिकायत भी प्राचार्य की ओर से की गई।

छेड़खानी के आरोप से हड़कंप मच गया। जागरण (सांकेतिक तस्वीर)
शासन ने इन शिकायतों को कड़ा रुख अपनाया है। इन दोनों शिक्षकों को महाविद्यालय से हटा दिया गया। उच्च शिक्षा सचिव अपर सचिव मनुज गोयल ने इस संबंध में आदेश जारी किए हैं। शासन ने डा मनीष सेमवाल को राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय कपकोट, बागेश्वर और डॉ रमेश सिंह को राजकीय महाविद्यालय बलुआकोट, पिथौरागढ़ से संबद्ध किया गया है।
राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय की राजनीति विज्ञान विषय की असिस्टेंट प्रोफेसर डा विनीता को भी बलुआकोट महाविद्यालय से संबद्ध किया गया है। वह डा रमेश सिंह की पत्नी हैं। यही नहीं, शासन ने हरिद्वार जिले के रुड़की में केएलडीएवी महाविद्यालय में छात्राओं के साथ अभद्र व्यवहार के प्रकरण को गंभीरता से लेते हुए रिपोर्ट तलब की है।